इजराइली सेना ने गाजा के शरणार्थी शिविरों पर की गोलाबारी

इजराइली सेना ने गाजा के शरणार्थी शिविरों पर की गोलाबारी

इजराइली सेना ने गाजा के शरणार्थी शिविरों पर की गोलाबारी

नेतन्याहू ने दी चेतावनी - लड़ाई खत्म नहीं होने वाली गाजा सिटी । इजराइली बलों ने मंगलवार को मध्य गाजा में स्थित शरणार्थी शिविरों पर गोलाबारी की। स्थानीय नागरिकों ने यह जानकारी दी। माना जा रहा है कि चारों तरफ से घिरे क्षेत्र के तीसरे खंड में अपने जमीनी हमले को विस्तारित करने की संभावित तैयारी के तहत इजराइल ने यह कार्रवाई की है। संभावित नए युद्ध क्षेत्र का खुलना इंगित करता है कि आगे की राह विनाशकारी और लंबी है, क्योंकि दक्षिणी इजराइल पर सात अक्तूबर के हमले के बाद इजराइल ने हमास को कुचलने का संकल्प लिया है। कई हफ्तों से इजराइली सेना उत्तरी गाजा और दक्षिणी शहर खान यूनिस में भारी लड़ाई में जुटी हुई है, जिसने फिीलस्तीनियों को शरण लेने के लिए क्षेत्र के छोटे क्षेत्रों में धकेल दिया है। संघर्ष विराम के लिए अंतर्राष्ट्रीय दबाव और हताहत होने वाले नागरिकों की संख्या में कमी लाने के अमेरिकी आह्वान के बावजूद इजराइली प्रधानमंत्री बेंजामिन नेतन्याहू ने सोमवार को चेतावनी दी कि लड़ाई खत्म होने के करीब नहीं है। हाल में इजराइल की ओर से किया गया हमला सबसे विनाशकारी सैन्य अभियानों में से एक है। गाजा के स्वास्थ्य मंत्रालय के मुताबिक, अब तक 20,600 फिलीस्तीनी नागरिक मारे गए हैं जिनमें दो तिहाई बच्चे और महिलाएं हैं। मंत्रालय नागरिकों और लड़ाकों के बीच अंतर नहीं करता है। इस बीच इजराइल - हमास युद्ध से क्षेत्र के आसपास तनाव बढ़ने के नए संकेत मिले हैं। सीरिया में एक इजराइली हवाई हमले में एक ईरानी जनरल की मौत हो गई, जिससे ईरान की ओर से बदला लेने के संकल्पों की शुरुआत हो गई है। अमेरिकी लड़ाकू विमान ने ईरान समर्थित चरमपंथियों को इराक में निशाना बनाया जिन्होंने एक ड्रोन हमला करके वहां एक अमेरिकी सैनिक को घायल कर दिया था । मध्य गाजा के निवासियों ने मंगलवार को गोलाबारी और हवाई हमलों की रात का वर्णन किया, जिससे नुसीरत, मघाजी और ब्यूरिज स्थित शिविर में रहने वाले लोग दहल गए। ये शिविर बसाए गए कस्बे हैं जिनमें 1948 के युद्ध के दौरान वर्तमान इजराइल स्थित अपने घरों से निकाले गए फलस्तीनी लोगों और उनके वंशजों को रखा गया है। अब इन शिविरों में उत्तर से भागे लोगों के आने से भीड़ बढ़ गई है। फलस्तीनी शिक्षक राडवान अबू शेट्टा ने ब्यूरेज में अपने घर से फोन पर कहा कि बमबारी बहुत तीव्र थी। उन्होंने इजरायली सैनिकों के बारे में कहा कि ऐसा लगता है कि वे आ रहे हैं। हमास की सैन्य शाखा कासमी ब्रिगेडने कहा कि उसके लड़कों ने ब्यूरेजी के पूर्व में एक इजराइली सैन्य टुकड़ी पर हमला किया है। इसकी रिपोर्ट की स्वतंत्र रूप से अभी पुष्टि नहीं की जा सकी है, लेकिन इससे पता चलता है कि इजराइली सेना शिविर की तरफ बढ़ रही है । युद्धक विमानों और तोपखाने से नुसीरात शिविर के पूर्व के इलाकों पर भी हमला किया गया। एक फलस्तीनी मछुआरे एजेल - दीन मोहम्मद अब्दुल्ला अल-मसरी ने कहा कि बमबारी के कारण हम सो नहीं सके । अल-मसरी अपने पांच बच्चों और अन्य परिवार के साथ उत्तरी गाजा से क्षेत्र में विस्थापित हो गए थे। उन्होंने कहा कि हम डरे हुए हैं। बता दें कि इजराइली सैनिक उत्तरी गाजा में हमास और अन्य चरमपंथियों के साथ लगभग दो महीने से जमीनी लड़ाई और खान यूनिस में कई हफ्तों से शहरी लड़ाई में जुटे हुए हैं। लड़ाई और बमबारी ने दोनों क्षेत्रों के बड़े हिस्से को नेस्तनाबूद कर दिया है और पूरे क्षेत्र में हमले जारी हैं। इजराइली सेना ने मंगलवार को दो और सैनिकों की मौत की घोषणा की, जिससे जमीनी हमले में मारे गए सैनिकों की कुल संख्या 158 हो गई है। चरमपंथियों ने सोमवार देर रात इजराइल पर रॉकेट की बौछार कर दी, जिससे दक्षिणी शहर अश्कलोन में हवाई हमले के सायरन बजने लगे। जानमाल के नुकसान की कोई तत्काल सूचना नहीं मिली है। हमास ने सात अक्तूबर को दक्षिणी इजराइल पर हमला कर दिया था जिसमें करीब 1200 लोगों की मौत हो गई जिसमें ज्यादातर आम नागरिक हैं । इसके अलावा हमास ने 240 लोगों को बंधक भी बना लिया था । इसके बाद इजराइल ने जवाबी शुरू की और हमास-इजराइल युद्ध की शुरुआत हो गई । इजराइल ने कहा है कि उसका लक्ष्य 100 बंधकों को छुड़ाने का है जिन्हें अब भी गाजा में कैद करके रखा गया है।

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