सिलचर में मिशन शक्ति के तहत हितधारकों की संयुक्त बैठक

सिलचर में मिशन शक्ति के तहत हितधारकों की संयुक्त बैठक
सिलचर में मिशन शक्ति के तहत हितधारकों की संयुक्त बैठक

बालिकाओं के कल्याण और संरक्षण के लिए मजबूत प्रतिबद्धता

सिलचर । महिलाओं एवं बच्चों की सुरक्षा, लैंगिक भेदभाव को रोकने एवं जागरूकता बढ़ाने के उद्देश्य से सिलचर में एक महत्वपूर्ण संयुक्त बैठक आयोजित की गई। बुधवार को जिला आयुक्त कार्यालय के नए सम्मेलन कक्ष में आयोजित बैठक मिश्ना शक्ति एजेंडे के तहत आयोजित की गई थी । संकल्प – जिला महिला सशक्तिकरण केंद्र (कछार) और महिला एवं बाल कल्याण विभाग द्वारा आयोजित इस बैठक ■ को यूनिसेफ की सहयोगी संस्था इंडिपेंडेंट थॉट और कछार जिला प्रशासन की सक्रिय भागीदारी से और अधिक महत्वपूर्ण बनाया गया। इस बैठक का मुख्य उद्देश्य बालिकाओं के महत्व, उनकी सुरक्षा और शिक्षा को और मजबूत करना था, विशेष रूप से बेटी बचाओ बेटी पढ़ाओ (बीबीबीपी) एजेंडे की 10वीं वर्षगांठ मनाने के उद्देश्य से । बैठक का मुख्य उद्देश्य संबल, सामर्थ्य और बीबीबीपी परियोजनाओं का सफल क्रियान्वयन सुनिश्चित करना, बाल विवाह की रोकथाम करना, लिंग आधारित भेदभाव को समाप्त करना और सभी बालिकाओं के लिए सुरक्षित वातावरण सुनिश्चित करना था। बैठक की शुरुआत में महिला एवं बाल कल्याण विभाग की प्रभारी अतिरिक्त जिला

आयुक्त किमचिन लंघम ने सरकारी और निजी संगठनों के बीच समन्वय की आवश्यकता पर बल दिया। उन्होंने कहा कि महिला सशक्तिकरण और बाल संरक्षण के लिए मिलकर काम करना बहुत महत्वपूर्ण है, क्योंकि स्थानीय प्रशासन सहित समाज के हर स्तर की इसमें सक्रिय भूमिका होनी चाहिए। जिला समाज कल्याण विभाग की सहायक आयुक्त अंजलि कुमारी और संकल्प की डीएमसीएच बनानी भट्टाचार्य ने मिशन शक्ति और बेटी बचाओ बेटी पढ़ाओ कार्यक्रमों के बारे में विस्तार से चर्चा की। वे परियोजनाओं की वर्तमान प्रगति, मौजूदा समस्याओं और भविष्य की योजनाओं का वर्णन करते हैं । इस बीच,

181 (महिला हेल्पलाइन) और 1098 ( बाल हेल्पलाइन) के कामकाज को बढ़ावा देने और सुदृढ़ करने पर जोर दिया जा रहा है ताकि किसी भी आपदा पीड़ित को समय पर सहायता मिल सके । बाल विवाह के मुद्दे पर अपने भाषण में यूनिसेफ से सम्बद्ध संस्था इंडिपेंडेंट थॉट के कंट्री डायरेक्टर राम किशोर ने बाल विवाह को समाज के लिए एक गंभीर समस्या बताया । उन्होंने कहा कि बालिकाओं की सुरक्षा सुनिश्चित करने के लिए सभी हितधारकों को मिश्ना शक्ति और बाल विवाह मुक्त भारत एजेंडा के तहत मिलकर काम करना बहुत महत्वपूर्ण है। कानूनी संरक्षण के पहलू पर प्रकाश डालते हुए जिला

विधिक सेवा प्राधिकरण (डीएलएसए) की

सचिव सलमा सुल्ताना ने कार्यस्थल पर महिलाओं के यौन उत्पीड़न रोकथाम अधिनियम (पीओएसएच) के बारे में विस्तृत जानकारी दी। उन्होंने बाल दुर्व्यवहार, शोषण और जबरन विवाह जैसे अपराधों के खिलाफ सख्त कार्रवाई का आह्वान किया। इस संयुक्त बैठक में जिला प्रशासन, जिले के महिला एवं बाल कल्याण विभाग तथा यूनिसेफ की सहयोगी संस्था इंडीपेन्डेन्ट थॉट के सशक्त संयुक्त प्रयास पर प्रकाश डाला गया। बैठक में प्रतिभागियों ने बालिकाओं के लिए सुरक्षित, संरक्षित और गैर भेदभावपूर्ण समाज बनाने के लिए अधिक प्रभावी नीतियों और प्रणालियों की आवश्यकता पर चर्चा की। इस संयुक्त प्रयास से एक नया क्षितिज खुलेगा, जिससे प्रत्येक बालिका का सशक्तिकरण सुनिश्चित होगा, उनके सपनों को पूरा करने में कोई बाधा नहीं आएगी तथा वे एक उज्ज्वल भविष्य का निर्माण करने में सक्षम होंगी। समाज के सभी स्तरों के समर्थन से भेदभाव को समाप्त करना तथा सशक्त एवं सुशिक्षित बालिकाओं का विकास संभव है । यह जानकारी सिलचर सूचना एवं जनसंपर्क विभाग के क्षेत्रीय कार्यालय द्वारा जारी एक प्रेस विज्ञप्ति में दी गई।

सिलचर में मिशन शक्ति के तहत हितधारकों की संयुक्त बैठक
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